मधुमक्खियों के बारे में संपूर्ण जानकारी, Madhumakkhi Ke Baare mein - Hindivigyan

 मधुमक्खियों से हम परिचित न हों, ऐसा लगभग असम्भव है, क्योंकि हमारे परिवेश में कभी न कभी मधुमक्खी या उनका झुंड घूमता हुआ नजर आया ही होगा । जानिए मधुमक्खियों के बारे में संपूर्ण जानकारी हिंदी में हिंदीविज्ञान के साथ ।

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हम आपको मधुमक्खियों के बारे में कुछ ऐसी बातें बताने जा रहे हैं जो आपने पहले कभी सोची या जानी न होंगी , क्योंकि मधुमक्खी एक प्रकार से प्रकृति के द्वारा मनुष्यों को दिया गया वरदान है ।

यदि मधुमक्खियां न हो तो मनुष्यों के लिए जीवन जीना बहुत ही कठिन हो जायेगा । क्योंकि प्रायः फलों और फूलों को बढ़ने और विकसित होने में मधुमक्खियों का बहुत बड़ा योगदान होता है।

यदि मधुमक्खियां फूलों पर न बैठें तो हमारी फसलों पर इसका बहुत बड़ा दुष्प्रभाव पड़ता है । क्योंकि फूलों का खिलना एवं प्रजनन क्रिया मधुमक्खियों की मदद से करते हैं । 

आइए जानते हैं इस भिनभिनाने वाले खूबसूरत कीट मधुमक्खियों के बारे में कुछ अद्भुत बातें -

मधुमक्खियों के रोचक तथ्य 

  1. मधुमक्खी कीट वर्ग यानी कीड़ों की प्रजातियों के अंतर्गत आती हैं। 
  2. मधुमक्खियां कीड़ों में अपने विशेष योगदान यानी शहद के लिए बेहद प्रसिद्ध हैं ।
  3. मधुमक्खियों के कारण ही हमारे ज्यादातर शाकाहारी फल फूल सब्जियां उत्पादित हो पाते हैं । 
  4. मधुमक्खियों के कारण अधिकतर शाकाहारी भोजन श्रृंखला चलती है ।
  5. मधुमक्खियों के उड़ने पर भिनभिनाहट की आने वाली आवाज असल में उनके पंखों से आती है ।
  6. मधुमक्खियों की दुनिया भर में 20 हजार प्रजातियां पाई जाती हैं ।
  7. मधुमक्खियों की इतनी प्रजातियां होने के कारण भी हम कुछ विशेष प्रजातियों को ही देख पाते हैं, इसका प्रमुख कारण यह है कि ज्यादातर मधुमक्खियां एकांतवासी होती हैं।
  8. एकांतवासी मधुमक्खियां न तो शहद बनाती हैं और न ही मोम ।
  9. इतनी प्रजातियां में से काफी मधुमक्खियां झुंड में रहती हैं और भारी मात्रा में मिलकर काम करती हैं । जैसे की शहद बनाना और झुंड रक्षा करना, प्रजनन करना इत्यादि ।
  10. अधिकतर मधुमक्खियों में डंक पाया जाता है जबकि इन 20000 प्रजातियों में से कुछ ऐसी भी हैं जो बिना डंक की होती हैं ।

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मधुमक्खी के बारे में जानकारी

मधुमक्खी के बारे में कुछ विशेष बातें 


  1. आपको जानकर हैरानी होगी की मधुमक्खियां के 5 आंखें होती हैं । 2 प्रमुख आंखें जो सभी जीवों की तरह समान हैं पर 3 इनके सिर के ऊपरी हिस्से में पाई जाती हैं ।
  2. मधुमक्खियां पराबैंगनी किरणों यानी अल्ट्रावायलेट किरणों को देख सकती हैं जो इनके लिए कई विभागों में मददगार साबित होता है ।
  3. मधुमक्खियों में 170 प्रकार के सूंघने की ग्रंथियां पाई जाती हैं जो इन्हें अपने मित्र और शत्रु को पहचानने , परभक्षियों से बचाने और भोजन ढूंढने में काम आती हैं ।
  4. मधुमक्खियां नाच कर भी अपने सहयोगियों से बात कर सकती हैं और इस प्रकार वे एक दूसरे तक अपना संदेश पहुंचाती हैं ।
  5. मधुमक्खियां बेहद परिश्रम करने वाली प्राणी होती हैं, प्रतिदिन मीलों दूर तक सफर करके फूलों का रस निकालकर शहद बनाने का काम करती हैं ।
  6. मधुमक्खियां 20 मील प्रति घंटा की गति से उड़ सकती हैं
  7. मधुमक्खियां एक बार शहद की खोज में जाती हैं तो एक बार में 50 से 120 फूलों का रस चूस कर लाती हैं
  8. मधुमक्खियां साल भर में करीब 45 से 50 किलोग्राम तक शहद बना सकती हैं ।  
  9. इन्हें 1 किलो शहद बनाने में करीब 1 लाख किलोमीटर तक यात्रा करनी पड़ती है
  10. शहद मधुमक्खियों के साथ साथ मनुष्यों के लिए भी अत्यधिक उपयोगी होता है , जिस कारण मनुष्य इनका पालन भी करते हैं ।
मधुमक्खियां शहद के अलावा कुछ अन्य उपयोगी पदार्थ जैसे कि मोम और विष भी पैदा करती हैं जो भिन्न भिन्न कार्यों में उपयोग किए जाते हैं ।

  1. मधुमक्खियां के द्वारा बनाए गए पदार्थ मोम को मोमबत्ती बनाने एवं साज सज्जा ( कॉस्मेटिक्स ) बनाने में उपयोग में लाए जाते हैं । साथ ही इनके विष से दवाएं बनाई जाती हैं ।
  2. मधुमक्खी के शहद से हेल्थ सप्लीमेंट्स भी बनाए जाते हैं जो स्वास्थ्य बेहतर करने का काम करते हैं ।
  3. मधुमक्खियां आज खतरे की कगार पर पहुंच गई हैं। मधुमक्खियों की कुछ प्रजातियां समाप्त होने की स्थिति तक पहुंच गई हैं । 
  4. मधुमक्खियों के लिए सबसे बड़ा खतरा आज के समय में जलवायु परिवर्तन है, इसके अतिरिक्त मोबाइल रेडिएशन, कीटनाशक , परजीवी एवं इनकी बीमारियां हैं । 
  5. यदि मधुमक्खियां पृथ्वी से गायब हो जाएं तो पृथ्वी पर जीवन संकट आ सकता है । 

मधुमक्खियों को बचाने के उपाय

मधुमक्खियों को बचाने के लिए हम कुछ उपाय कर सकते हैं जैसे की हम कुछ ऐसे फूलों की खेती कर सकते हैं जो की मधुमक्खियों की बेहद पसंद हैं जैसे की सूरजमुखी, सरसो महुआ आदि ।

मधुमक्खी काटने पर सूजन उतारने का तरीका

मधुमक्खी वैसे तो बेवजह नहीं काटती है जब तक की इन्हें सताया न जाए, परंतु इनके गुस्सैल रवैया की वजह से कभी कभी ये जानलेवा हो सकती हैं ।

आमतौर पर थोड़ी मात्रा में इनके द्वारा काटा जाना हल्की फुल्की समस्याएं पैदा कर सकता है जैसे कि बुखार आना और काटे गए स्थान या डंक मारे गए स्थान पर सूजन आ जाना ।

मधुमक्खी के काटने पर सूजन उतारने का तरीका कुछ ऐसा है जिसमें आप काटे गए स्थान पर खट्टी चीजें जैसे की कच्चा आम, नींबू, या फिर बर्फ से सेंक सकते हैं । याद रहे यह सिर्फ देसी इलाज है जो की ठीक करने की गारंटी नहीं देता । 

मधुमक्खी के काटने पर सूजन ठीक करने के लिए बेहतर होगा कि आप डॉक्टर से उपचार कराएं । क्योंकि अधिक मात्रा में मधुमक्खियों का डंक जानलेवा भी हो जाता है । इसके डंक में पाया जाने वाला जहर एपिटोक्सिन कहलाता है । 

मधुमक्खी और गुड़हल का फूल

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मधुमक्खी का काटना शुभ या अशुभ 

धार्मिक दृष्टि से देखें तो मधुमक्खी का काटना अशुभ माना जाता है, परंतु धार्मिक और भौतिक दृष्टिकोण से देखें तो यह हानिकारक ही है । इसलिए मधुमक्खियों के छत्ते से दूरी बना कर रखिए । 

मधुमक्खी के काटने का इलाज

मधुमक्खी के काटने का इलाज वैसे तो डॉक्टर ही करे तो ज्यादा बेहतर है जिसमें वे कुछ एंटी एलर्जिक, एंटी इन्फ्लेमेटरी और एंटीबायोटिक्स दे सकते हैं, परंतु यदि आपको यदि मधुमक्खी ने काटा है तो सबसे पहले मधुमक्खी को पहचानने की कोशिश करें क्योंकि कुछ मधुमक्खियां अधिक जहरीली होती हैं । 

यदि आपको एक या दो मधुमक्खी ने काटा है तो घबराने की आवश्यकता नहीं है, क्योंकि इनके काटे गए स्थान पर आप कुछ घरेलू उपचार जैसे सिरका, नींबू जैसे खट्टी चीजें लगा सकते हैं जिससे काटे गए स्थान पर होने वाली सूजन काफी हद तक कम हो जायेगी और इन्फेक्शन होने का भी खतरा काफी कम हो जाता है । 

परंतु बेहतर रहेगा की आप डॉक्टर से सलाह जरूर लें । मधुमक्खी के काटने का इलाज आपको एक या दो दिन में असर दिखाने लगेगा और सूजन काफी हद तक कम हो जायेगी ।

मधुमक्खी किस से डरती हैं ?

मधुमक्खी वैसे तो किसी से नहीं डरती हैं क्योंकि ये प्रायः झुंड में रहती है और समस्या आने पर एकजुट होकर हमला करती हैं । पर यदि आपके घर के आसपास मधुमक्खियों का झुंड है और आप इसे भागना चाहते हैं तो इसके लिए धुआं का उपयोग आप कर सकते हैं ।

यदि आपके शरीर में या फिर किसी अन्य व्यक्ति के शरीर में मधुमक्खियों का झुंड लिपटा हुआ है तो आपके लिए धुआं सबसे बेहतर है । आप कोशिश करें की पेड़ के पत्तों जैसे नीम आम जैसे कड़वे स्वाद वाले पत्तों में आग लगा कर धुएं के सामने बैठ जाएं , मधुमक्खियां तुरंत आपको छोड़ कर भाग जाएंगी । 

मधुमक्खी और शहद

उपसंहार

मधुमक्खी एक बेहद प्यारा जीव है जो हमारे पर्यावरण के विकास में काफी योगदान देता है । और इसके संरक्षण के लिए हमें उपाय जरूर करने चाहिए क्योंकि यदि यह प्राणी खतरे में आया तो हमारा भोजन चक्र असंतुलित हो जाएगा । हाल ही में हुए सर्वे में बताया गया कि मधुमक्खियों की तादाद काफी हद तक कम हो गई है जिसमें जलवायु परिवर्तन, मौसम का अनियमित होना, कीटनाशकों का अत्यधिक मात्रा में प्रयोग शामिल है । यह हमारी जिम्मेदारी होती है कि हम इस प्राणी की रक्षा कर अपने पर्यावरण को खुशहाल बनाने में मदद करें ।